मुरैना-अंबाह [ब्यूरो]। कांग्रेस संगठन और प्रदेश की राजनीति में अपने वजूद को बढ़ाने के लिए संघषर्षरत केंद्रीय ऊर्जा राज्यमंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के लिए ग्वालियर-चंबल की 34 सीटें प्रतिष्ठा का सवाल बन गई हैं। यही कारण है कि चंबल की चुनावी सभाओं में सिंधिया पर इसका दबाव उनके चेहरे और व्यवहार में साफ दिखाई दे रहा है।
प्रदेश के मुख्यमंत्री पद पर अपना दावा पुख्ता करने और शिवराज सिंह चौहान की आम आदमी की छवि से टक्कर लेने के लिए सिंधिया ने अपनी राजा-महाराजा की छवि से बाहर आने की कवायद शुरू कर दी है। मंगलवार को मुरैना जिले के अंबाह में हुई एक आमसभा में पहुंचे सिंधिया ने मंच से सोफे हटवा दिए, और खुद फर्श पर बैठ गए।
इसके बाद अपने भाषण के दौरान उन्होंने कहा कि वे फर्श पर इसलिए बैठे कि सोफे से न तो मैं सभी को देख पाता हूं, और न ही जनता उन्हें करीब से देख पाती है।
चंबल में यह पहली बार हुआ है कि किसी आमसभा में सिंधिया फर्श पर बैठे हों। इससे पहले उन्होंने सुबह 11 बजे मुरैना शहर स्थित मेला मैदान में भी एक सभा को संबोधित किया था। लेकिन यहां वे मंच पर कुर्सियों पर बैठे थे। अपने संबोधन में श्री सिंधिया ने कहा कि मुरैना आते ही उन्हें विटामिन का ऐसा इंजेक्शन लग जाता है। जो उन्हें ऊर्जा प्रदान करता है।
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